Thursday, August 15, 2013

आँसू

छोड़ आए थे जो दुनिया बहुत पीछे
उस दुनिया की भी दुनिया में हम बाक़ी नहीं हैं,
हो रही होगी आबाद वो दुनिया किसी दुनिया
हम भी हैं खुश, अरमां बाक़ी नहीं हैं,
रोने पे हमारे न जा, ये आँसू खुशी के हैं
इतनी सुहानी ज़िंदगी के हम आदी नहीं हैं।

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