साँसों की तितलियाँ
Thursday, July 27, 2017
साये
लौट के आयेगी
हर वो शै
जिसे छुओगे
बिना पकड़े,
तितलियाँ
ख़ुशबू
साये हैं
ये किस्मतें,
तदबीरें नहीं हैं!
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