Wednesday, December 24, 2014

पर्दा

नई जगह
नींद में
यक ब यक
क्रिस्टमस की सुबह
सुनीं जो
तेरी आज़ान
तो एक बार तो लगा
मैं तेरे पास
पहुँच गया,

होश की आँख खोल
पलकों का पर्दा उठाया
तो पाया
मैं था
अभी भी
वहीं,
तू
आया था।

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